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संघर्ष की राह कहानी भाग 10

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संघर्ष की राह कहानी भाग 10 संघर्ष की राह कहानी भाग 10 https://www.blogger.com/blog/post/edit/2178591183737576661/3025276498559678248 रोहित का प्रण: शिक्षा से गाँव का उत्थान" : - रोहित का शपथ ग्रहण -गांव में काफी चहल-पहल थी , सभी ग्रामीण जन एक दूसरे को रोहित के सरपंच बनने की बधाई दे रहे थे। आज ग्राम पंचायत में सरपंच रोहित का शपथ ग्रहण समारोह था। शपथ दिलाने के लिए जिले से अधिकारी आए थे। अधिकारी महोदय ने रोहित को सरपंच पद की शपथ दिलाई और अपने गांव में विकास कार्य के लिए मार्गदर्शन दिया। रोहित ने ग्रामवासियों के समक्ष अपनी बात रखी। उन्होंने कहा , " आप सभी ने मुझे सरपंच बनाया है , मैं इस पद का दुरुपयोग नहीं करूंगा। हम सभी मिलकर अपने गांव का विकास करेंगे।"   शिक्षा का प्रण -रोहित ने कहा , " सबसे पहले हम शिक्षा के क्षेत्र में काम करेंगे। हमारे गांव में कक्षा आठवीं तक ही स्कूल है। आठवीं कक्षा के बाद हमारे गांव के लड़के-लड़कियां आगे की पढ़ाई नहीं कर पाते और बीच में पढ़ाई छोड़कर मजदूरी करने लग जाते हैं। इससे उनकी आगे की पढ़ाई छूट जाती है। मैं सबसे पहले अपने गांव में हाई स्क...

संघर्ष की राह कहानी भाग 9

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  संघर्ष की राह कहानी भाग  9 शेरपुर के सरपंच का चुनावी संग्राम :- शेरपुर गांव विकास की ओर बढ़ रहा था। गांव में शासन की कई मूलभूत योजना   गांव वालों को मिल रही थी। गांव वालों की आर्थिक स्थिति काफी हद तक सुधर चुकी थी। गांव के लोग वैज्ञानिक तरीके से खेती का काम कर रहे थे. | जैविक खेती के मामले मे शेरपुर गांव का नाम जिले में पहले नम्बर पर था। कुछ समय बाद सरकार द्वारा   पंचायत चुनाव की घोषणा कर दी। गांव के लोग सोच रहे थे अपने गांव का सरपंच कैसे बनाए | गांव की चौपाल पर चर्चा हो रही थी। उसी गांव मे एक जमींदार परिवार भी रहता था , उसके दो लड़के थे जमीदार के पास जमीन भी ज्यादा थी। और ब्याज से पैसे गांव वालों को देता था। लोग उससे डरते थे। जमीदार के लड़के ने लोगों को डराना शुरू कर दिया , और होने वाले आगामी सरपंच के चुनाव के लिए अपने पक्ष में मतदान करने के लिए लोगों के बीच में जाना प्रारम्भ कर दिया। जो लोग रोहित को चाहते थे उनको जमीदार की बात अच्छी नहीं लगी। उन्होंने जमीदार की बातो पर ध्यान नहीं दिया। उनका मानना था जमीदार ने उनका पहले बहुत शोषण किया | ज्यादा   भाव से...